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निर्माण विभाग

ताजुल मसाजिद में दारुल उलूम जिस समय स्थापित किया गया उस समय यह ऐतिहासिक मस्जिद अधूरी तथा दयनीय स्थिति में थी तथा इसके आसपास की भूमि शासन के अधिग्रहण में थी इस प्रकार दारुल उलूम के मूल उद्देश्यों में से एक महत्वपूर्ण उद्देश्य इस अपूर्ण मस्जिद को पूर्ण करना तथा आसपास की भूमि प्राप्त करके उस पर उचित निर्माण तथा संरक्षण करना था। दारुल उलूम में प्रथम दिवस से इस उद्देश्य हेतु एक प्रथक विभाग निर्माण विभाग के नाम से गठित किया गया है जिसमें समय समय पर निर्माण, सुधार, रंग रोग़न तथा साफ़ सफ़ाई का कार्य होता रहता है। विभिन्न विशेषज्ञ,मज़दूर व क़ारीगरों की नियुक्ति की जाती है। तथा विभिन्न अवसरों पर विशेषज्ञों व इंजीनियरों से सलाह ली जाती है। दारुल उलूम के बजट का एक बड़ा भाग इस विभाग और इसके द्वारा किये जाने वाले निर्माण पर व्यय होता है।